एनआई कार्य के लिए सितंबर से चल रही चक्रधरपुर मंडल में ट्रेनों के परिचालन में अनियमितता
यात्रियों, विभिन्न राजनीतिक दल और समाजिक संस्थाओं ने उठाए रेलवे प्रशासन पर सवाल
चक्रधरपुर : पिछले तीन-चार महीने से ट्रेनें रद्द होने या विलंबित होने के कारण यात्रियों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
एनआई समेत विभिन्न कार्यों को लेकर सितंबर से चल रहे प्रत्येक शनिवार और मंगलवार को लाईन ब्लॉक के चलते मंगलवार को टिटलागढ़ हावड़ा इस्पात एक्सप्रेस सहित कई ट्रेनें रद्द रही। मंगलवार को अप इस्पात चक्रधरपुर से रवाना होने के बाद अप लाईन में अपरान्ह लगभग 5 बजे तक यात्रियों के लिए कोई ट्रेन उपलब्ध नहीं था जिसके फलस्वरुप चक्रधरपुर रेल स्टेशन यात्रा विहीन दिखा।
एनआई कार्य को लेकर बिलासपुर टाटा बिलासपुर एवं टाटा इतवारी टाटा एक्सप्रेस भी रद्द रही वहीं पुरी ऋषिकेष उत्कल एक्सप्रेस मंगलवार को परिवर्तित मार्ग पुरी-भुवनेश्वर, कटक, तालचेर, संबलपुर, झारसुगुड़ा रोड, ईब , रायगढ़, बिलासपुर, रायपुर होकर ऋषिकेश गई जिसके कारण पुरी ऋषिकेश उत्कल एक्सप्रेस से बालेश्वर, टाटानगर, चक्रधरपुर, रउरकेला और झारसुगुड़ा होकर ऋषिकेष की ओर जाने वाले यात्रियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा।
चक्रधरपुर रेल मंडल में ट्रेनों के लेटलतीफी और परिचालन में अनियमितता के कारण लोगों में नाराजगी है। दक्षिण पूर्व रेलवे के चक्रधरपुर रेल मंडल में ट्रेनों के लेटलतीफी को लेकर सांसद, विधायक के लेकर पूर्व मुख्य मंत्री के द्वारा आवाज उठाए जा रहे हैं लेकिन रेल प्रशासम पर इसका कोई असर नहीं पड़ रहा है।
हाल ही में सिंहभूम की सांसद जोबा मांझी ने रेलवे के जीएम को पत्र लिखकर कोरोना काल में बंद किए ट्रेनों के परिचालन व स्टेशनों में ट्रेनों के ठहराव को पुर्नबहाल करने की मांग की है। वहीं चक्रधरपुर रेल मंडल में ट्रेनों को ससमय चलाने की मांग की।
उसी प्रकार झारखंड मुक्ति मोर्चा, भारतीय जनता पार्टी समेत विभिन्न समाजिक संस्थाओं की ओर से लगातार जीएम और डीआरएम को ज्ञापन सौंपकर ट्रेनों के परिचालन में सुधार लाने की मांग की गई है।
सोमवार को रेलवे के जीएम अनिल कुमार मिश्रा के डांगोवापोसी और नोआमुंडी दौरे के दौरान पूर्व मुख्य मंत्री मधु कोड़ा ने जीएम से मुलाकात कर ट्रेनों के लेट परिचालन में सुधार लाने की मांग की है।
